सूर्य के अशुभ प्रभाव : सूर्य का दुष्प्रभाव व्यक्ति को अहंकारी बना देता है। ऐसे व्यक्ति खुद का नुकसान करने से भी नहीं चूकते हैं। इसके अलावा पिता के घर से अलग होना, कानूनी विवादों में फंसना और संपति विवाद होना, पत्नी से दूरी, अपने से बड़ों से विवाद, दांत, बाल, आंख व हृदय रोग होना। सरकार की ओर से नोटिस मिलना व सरकारी नौकरी में परेशानी आना भी इसमें शामिल है।
चंद्रमा के अशुभ प्रभाव : घर-परिवार के सुख और शांति की कमी, मानसिक रोगों का होना, बिना कारण ही भय व घबराहट, माता से दूरियां, सर्दी-जुखाम, छाती संबंधित रोग और कार्य तथा धन में अस्थिरता चंद्रमा के अशुभ प्रभाव की ओर इशारा करते हैं।
मंगल के अशुभ प्रभाव : अत्यधिक क्रोध व चिड़चिड़पन मंगल के अशुभ की निशानी है। भाइयों से मनमुटाव और आपसी विरोध मंगल के कारण ही होता है। रक्त में विकार होना और शरीर में खून की कमी मंगल के कमजोर होने की ओर इशारा करता है। जमीन को लेकर तनाव व झगड़ा, आग में जलना और चोट लगते रहना, छोटी-छोटी दुर्घटनाओं का होता रहना मंगल के अशुभ प्रभावों के कारण ही होता है।
बुध के अशुभ प्रभाव : बोलने-सुनने में परेशानी, बुद्धि का कम इस्तेमाल, आत्मविश्वास की कमी, नपुंसकता, व्यापार में हानि, माता का विरोध और शिक्षा में बाधाएं बुध के अशुभ प्रभाव के कारण होता है। बुध यदि अशुभ हो अच्छे मित्र भी नहीं मिलते।
गुरु के अशुभ प्रभाव : जिनका सम्मान करना चाहिए उनसे ही अनबन हो, समाज के सामने बदनामी हो और मान-सम्मान न हो तो समझ लीजिए गुरु आपसे नाराज हैं। बड़े अधिकारियों से विवाद हो, धर्मिक ढोंग के साथ अधर्म के काम करना, अनैतिक कार्य करना, पाखंड से धन कमाना, स्त्रियों से अनैतिक संबंध बनाना, संतान दोष, मोटापा और सूजन गुरु के अशुभ प्रभाव हैं।
शुक्र के अशुभ प्रभाव : शुक्र यदि अशुभ प्रभाव के फलस्वरूप यौन सुख में कमी, गुप्त रोग, विवाह में रुकावट, प्रेम में असफलता, हृदय का अत्यधिक चंचल हो जाना, प्रेम में धोखे की प्रवृत्ति शुक्र में अशुभ होने के लक्षण हैं।
शनि के अशुभ प्रभाव : अशुभ शनि जातक को झगडालू, आलसी, दरिद्र, अधिक निद्रा वाला, वैराग्य से युक्त बनाता है। यह पांव में या नसों से रोग देता है। स्टोन की समस्या शनि के अशुभ होने पर ही होती है। लोगों से उपेक्षा, विवाह में समस्या और नपुंसकता शनि के ही अशुभ प्रभाव हैं।
राहु के अशुभ प्रभाव : नशा व मांस-मदिरा का लती, गलत कार्यों को करने का शौक, शेयर मार्केट में नुकसान, घर-गृहस्थी से दूर होकर अनैतिक कार्य में लिप्त होना, अपराधों में संलिप्त होना और फोड़े-फुंसी का होना राहु के अशुभ प्रभाव है।
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